Jaipur Tourism जयपुर Best Places to visit in Jaipur

Jaipur Tourism जयपुर Best Places to visit in Jaipur

Top Places to visit in Jaipur

Jaipur Travel Guide

जयपुर में घूमने के लिए बेस्ट जगह

Jaipur जयपुर
गुलाबी शहर
Jaipur जयपुर की स्थापना सन् 1727 में की गई थी। आमेर के राजा जयसिंह द्वितीय द्वारा इस शहर का निर्माण करवाया गया। बढ़ती आबादी और पानी की कमी के कारण उन्होंने अपनी राजधानी को आमेर से इस नए शहर जयपुर में स्थानान्तरित कर दिया। इस शहर की बसावट तथा वास्तु, प्रसिद्ध वास्तुकार विद्याधर भट्टाचार्य के सिद्धान्तों के अनुरूप की गई। 1876 में जयपुर के इतिहास में एक नया अध्याय जुड़ गया जब प्रिंस ऑफ वेल्स ने भारत का दौरा किया। उनके स्वागत के लिए, तत्कालीन महाराजा रामसिंह ने पूरे शहर को गुलाबी (हिर्मिची) रंग में रंगवाया। आमेर, नाहरगढ़ और जयगढ़ के किले तथा गुलाबी नगर जयपुर स्वागत के लिए तैयार हो गया। सारी दुनिया में अपनी तरह का पहला नियोजित शहर बना जयपुर। अपने रंग-बिरंगे रत्नों और आभूषणों के लिए प्रसिद्ध, राजस्थान की राजधानी अपने वैभवपूर्ण इतिहास के साथ, सबसे बड़ी पर्यटन नगरी बन गया है। पारंपरिक तथा आधुनिकता का सम्मिश्रण, इस शहर की संस्कृति को अभूतपूर्व बनाता है। Jaipur जयपुर शहर टूरिज़्म के गोल्डन-ट्राएंगल यानी दिल्ली-आगरा-जयपुर का एक हिस्सा है।

आमेर महल Best Places to visit in Jaipur
Jaipur जयपुर से 11 कि.मी. की दूरी पर पुरानी राजधानी आमेर, अपने किले और स्थापत्य के लिए, पर्यटकों का मुख्य आकर्षण है। यूनेस्को की ‘विश्व धरोहर’ सूची में शामिल, पूर्व में कच्छवाहा राजपूतों की राजधानी आमेर महल, ऊँची पहाड़ी पर स्थित है। यह हिन्दू व मुगल शैली का सुन्दर मिश्रण है। आमेर का महल सन् 1592 में राजा मानसिंह प्रथम ने दुश्मनों से मुकाबला और बचाव करने के लिए बनवाया था। आमेर महल का आंतरिक भाग, लाल बलुआ पत्थर तथा संगमरमर से बनाया गया तथा इसमें नक्काशी का कार्य बहुमूल्य पत्थरों की जड़ाई, मीनाकारी का काम, पच्चीकारी काम, जगह-जगह लगे बड़े बड़े दर्पण, इसकी भव्यता को चार चाँद लगाते हैं। मावठा झील में आमेर किले व महल का प्रतिबिम्ब और इसके नीचे की तरफ बनी ’केसर क्यारी’ को देखकर पर्यटक आनन्दित होते हैं। महल का अतीत सात सदी पुराना है।

सिटी पैलेस Best Places to visit in Jaipur
महाराजा जयसिंह द्वितीय ने सिटी पैलेस की संचरनाओं के निर्माण के साथ साथ, इसकी भव्यता को भी बढ़ाया। परकोटे वाले शहर के बीच स्थित, सिटी पैलेस कॉम्प्लैक्स की कल्पना और निर्माण करवाने का श्रेय, जयपुर के संस्थापक महाराजा सवाई जयसिंह द्वितीय को जाता है। मुगल व राजपूत शैली का सम्मिश्रण इस महल को अद्वितीय बनाता है। इसमें मुबारक महल, महारानी का महल तथा कई अन्य छोटे महल, चौक और चौबारे हैं। मुबारक महल में अब महाराजा सवाई मानसिंह द्वितीय संग्रहालय बना दिया गया है, जिसमें शाही पोशाकें, अद्भुत पश्मीना शॉल, बनारसी साड़ियाँ, रेशमी वस्त्र, जयपुर के सांगानेर प्रिंटेड कपड़े और अन्य बहुमूल्य रत्न जड़ित कपड़े रखे हुए हैं। महाराजा सवाई माधोसिंह प्रथम तथा महारानियों के वस्त्रों का संग्रह भी यहाँ देख सकते हैं। महारानी पैलेस में सुसज्जित अस्त्र शस्त्र, कवच, ज़िरह-बख्तर आदि रखे हैं। महल की छत सुन्दर पेन्टिंग से सजाई गई है।

जंतर – मंतर Best Places to visit in Jaipur
Jaipur जयपुर के संस्थापक महाराजा सवाई जयसिंह द्वितीय द्वारा बनवाई गई पाँच खगोलीय वेधशालाओं में सबसे विशाल है, जयपुर की यह वेधशाला। इसे जंतर मंतर कहते हैं। यूनेस्को द्वारा इसे विश्व धरोहर सूची में शामिल किया गया है। इसमें बनाए गए जटिल यंत्र, समय को मापने, सूर्य की गति व कक्षाओं का निरीक्षण तथा आकाशीय पिंडों के सम्बन्ध में विस्तारपूर्वक जानकारी देते हैं। पर्यटकों को वेधशाला के सम्बन्ध में बताने के लिए यहाँ विशेषज्ञ मौजूद हैं।

हवा महल Best Places to visit in Jaipur
बाहर की तरफ से भगवान कृष्ण के मुकुट जैसा दिखाई देने वाला यह महल अनूठा है। सन् 1799 ई. में महाराजा सवाई प्रताप सिंह द्वारा बनवाया गया यह महल पाँच मंजिला है तथा इसका डिज़ाइन वास्तुकार लालचंद उस्ता द्वारा तैयार किया गया था। गुलाबी शहर का द्योतक हवा महल, बलुआ पत्थर से राजस्थानी वास्तुकला और मुगल शैली का मिश्रण है। इसकी दीवारें सिर्फ डेढ़ फुट चौड़ी हैं तथा 953 बेहद सुन्दर आकर्षक छोटे छोटे कई आकार के झरोखे हैं। इसे बनाने का मूल उद्देश्य था कि शहर में होने वाले मेले-त्यौहार तथा जुलूस को महारानियाँ इस महल के अन्दर बैठकर देख सकें। हवा महल गर्मी के मौसम में भी इन झरोखों के कारण वातानुकूलित रहता है। इसके आंगन में पीछे की तरफ एक संग्रहालय भी है।

अल्बर्ट हॉल (सेंट्रल म्यूजियम) Best Places to visit in Jaipur
अल्बर्ट हॉल की आधारशिला सन् 1876 ई. में प्रिंस ऑफ वेल्स ने रखी थी। लंदन के अल्बर्ट संग्रहालय के नाम पर इसका नाम अल्बर्ट हॉल रखा गया था। इसका डिज़ाइन सर स्विन्टन जैकब ने बनवाया था तथा इंडो-सार्सेनिक स्थापत्य शैली के आधार पर इसका निर्माण करवाया गया। रामनिवास बाग के बीच में यह अल्बर्ट हॉल की अभूतपूर्व और मनमोहक इमारत, हर मौसम में पर्यटकों को आकर्षित करती है। इसमें जयपुर कला विद्यालय, कोटा, बूंदी, किशनगढ़ और उदयपुर शैली के लघु चित्रों का बड़ा संग्रह है। धातु की वस्तुएं, लकड़ी के शिल्प, कालीन, मूर्तियाँ, हथियार, बहुमूल्य पत्थर, हाथी दांत का सामान – सभी कुछ दर्शनीय हैं।

नाहरगढ़ क़िला Best Places to visit in Jaipur
अंधेरी रात में, तारों की छाँव में, नाहरगढ़ किले से Jaipur जयपुर शहर का विहंगम, अभूतपूर्व, अद्भुत और मदमस्त नजारा, सारी दुनियां में और कहीं नहीं मिलेगा। शहर की रौशनी को देखकर लगता है, तारे जमीन पर उतर आए हैं। सन् 1734 ई. में महाराजा जयसिंह के शासनकाल के दौरान इस किले का निर्माण किया गया, जो कि शहर का पहरेदार मालूम होता है। नाहरगढ़ यानी शेर का किला। इस किले में बनाए गए माधवेन्द्र भवन को ग्रीष्म काल में महाराजा के निवास के रूप में काम में लिया जाता था। रानियों के लिए आरामदेय बैठक तथा राजा के कक्षों का समूह, आलीशान दरवाजों, खिड़कियों और भित्तिचित्रों से सजाया गया, नाहरगढ़ अतीत की यादों को समेटे शान से खड़ा है। अभी हाल ही में महल में एक स्कल्पचर आर्ट गैलरी भी बनवाई गई है।

जयगढ़ फोर्ट Best Places to visit in Jaipur
सन् 1726 में, महाराजा जयसिंह द्वितीय द्वारा यह किला आमेर की सुरक्षा के लिए बनवाया गया था। इसमें बने शस्त्रागार, अनूठा शस्त्र संग्रहालय, तोपें बनाने का कारखाना तथा विश्व की सबसे बड़ी तोप जयवाण के कारण राजस्थान में आने वाला प्रत्येक पर्यटक जयपुर आकर इस तोप को जरूर देखना चाहता है।इस तोप को एक बार चलाया गया था जिससे शहर से 35 कि.मी. दूर एक तालाब का गड्ढा बन गया था। इसकी लम्बाई 31 फीट 3 इंच है तथा वजन 50 टन है। इसके 8 मीटर लंबे बैरल में 100 किलो गन पाउडर भरा जाता था।

बिड़ला मंदिर Best Places to visit in Jaipur
लक्ष्मी नारायण मंदिर, जो कि बिड़ला मंदिर नाम से अधिक लोकप्रिय है, मोती डूंगरी की तलहटी में स्थित है। ऊँचे भूभाग पर अपेक्षाकृत आधुनिक रूप से निर्मित यह मंदिर पूरी तरह से श्वेत संगमरमर का बना है। मंदिर को 1988 में प्रसिद्ध भारतीय उद्योगपति बिड़ला द्वारा बनवाया गया था। यह मंदिर भगवान विष्णु, जिन्हें नारायण भी कहते हैं, को समर्पित है। उनके साथ ही धन और सौभाग्य की देवी लक्ष्मी है। यह मंदिर कला की एक नायाब रचना है। कई पौराणिक विषयों को शामिल करती अति सुंदर नक्काशी और मूर्तियां भी यहाँ शामिल हैं। रात में इस पर की गई रौशनी बेहद आकर्षक लगती है। मुख्य मंदिर के अतिरिक्त एक संग्रहालय है जो बिड़ला परिवार के पूर्वजों की यादगार को दर्शाता है।

सिसोदिया रानी महल और बाग़ Best Places to visit in Jaipur
Jaipur जयपुर से 8 किलोमीटर की दूरी पर आगरा रोड पर स्थित सिसोदिया रानी महल और बाग़ मुगल शैली से सजा – संवरा है।राधा और कृष्ण की लीलाओं के साथ चित्रित इस बहु-स्तरीय उद्यान में फव्वारे, पानी के झरने और चित्रित मंडप हैं। महाराजा सवाई जय सिंह द्वितीय ने इसे अपनी सिसोदिया रानी के लिए बनाया था।

जल महल Best Places to visit in Jaipur
मानसागर झील के बीच में बना अद्भुत जलमहल, पानी पर तैरता प्रतीत होता है। इसकी पाल (किनारे) पर रोजाना स्थानीय तथा विदेशी पर्यटक मनमोहक नजारा देखने आते हैं। रात के समय जलमहल रंग बिरंगी रौशनी में परी लोक सा लगता है। महाराजा जयसिंह द्वितीय द्वारा 18वीं सदी में बनवाया गया, रोमांटिक महल के नाम से भी जाना जाता है। राजा अपनी रानी के साथ इस महल में खास वक्त बिताने आते थे तथा राजसी उत्सव भी यहाँ मनाए जाते थे। इसके चारों कोनों पर बुर्जियां व छतरियां बनी हैं। बीच में बारादरी, संगमरमर के स्तम्भों पर आधारित है।

सैन्ट्रल पार्क Best Places to visit in Jaipur
सैन्ट्रल पार्क Jaipur जयपुर के केन्द्र में स्थित बड़ा हरा-भरा क्षेत्र है, जो शहर के निवासियों को राहत के पलों के लिए एक स्थान प्रदान करता है। जयपुर विकास प्राधिकरण द्वारा निर्मित यह Jaipur जयपुर का सबसे बड़ा पार्क है। यहाँ सुकून देते उद्यान, पोलो ग्राउण्ड और एक गोल्फ क्लब भी है। पार्क का मुख्य आकर्षण भारत का पहला सबसे ऊँचा राष्ट्रीय ध्वज है।

हैंड प्रिंटिंग का संग्रहालय “अनोखी” Best Places to visit in Jaipur
आमेर की ओर जाती सीढ़ी वाली सड़क से केवल दस मिनट की पैदल दूरी पर ही हैंड प्रिंटिंग के लिए विख्यात अनोखी संग्रहालय है। एक भव्य पुनर्स्थापित हवेली में स्थित ये संग्रहालय चित्र, उपकरण और संबंधित वस्तुओं के साथ विभिन्न चयनित ब्लॉक-मुद्रित वस्त्रों को प्रदर्शित करता है। जटिल प्राचीन परंपरा का गहराई से अवलोकन करने के लिए सभी इस स्थान को चुनते हैं।

गोविन्द देव जी मंदिर Best Places to visit in Jaipur
श्री गोविन्द देव जी की आकर्षक प्रतिमा सवाई जयसिंह वृन्दावन से जयपुर लाए थे। जो यहाँ पूरे सम्मान से शहर के परकोटे में स्थित श्री गोविन्द देव जी मंदिर में स्थापित की गई। शाही परिवार और स्थानीय लोगों द्वारा पूजनीय गोविन्द देवजी में सात झांकियों के माध्यम से दर्शन की समुचित व्यवस्था है।

मोतीडूंगरी गणेश मंदिर Best Places to visit in Jaipur
Jaipur जयपुर वासियों के लिए बुधवार को गणेश मंदिर जाना एक आदत बन गई है। जब तक यहाँ पूजा न की जाए उनका दिन सफल नहीं होता। 18वीं सदी में सेठ जयराम पालीवाल द्वारा इसका निर्माण शुरू किया गया था। हिन्दू धर्म के प्रथम पूज्य गणेश जी के मंदिर में लोग, कोई भी शुभ काम शुरू करने से पहले आशीर्वाद लेने आते हैं। इस मंदिर के पास ही पहाड़ी पर मोती डूंगरी महल स्थित है, जो कि एक स्कॉटिश महल का प्रतिरूप है। यहाँ महाराजा सवाई मानसिंह अपने परिवार के साथ रहा करते थे।

दिगम्बर जैन मंदिर Best Places to visit in Jaipur
Jaipur जयपुर का प्राचीन दिगम्बर जैन मंदिर शहर से 14 किमी दूर सांगानेर में स्थित है। संघीजी मंदिर में प्रमुख विग्रह भगवान आदिनाथ पद्मासन (कमल स्थिति) मुद्रा में है। यह आकर्षक नक्काशियों से बना लाल पत्थर का मंदिर है। सात मंजिला मंदिर में आसमान छूते शिखर हैं।

गलता जी Best Places to visit in Jaipur
गलता जी Jaipur जयपुर का एक प्राचीन तीर्थ स्थान है। यह गालव ऋषि की तपोस्थली है। गलता जी स्थित कुंड में स्नान का धार्मिक महत्व है। तीर्थ यात्री यहाँ पवित्र स्नान हेतु आते हैं। इस आकर्षक जगह में मंदिर, मंडप और पवित्र कुंड (प्राकृतिक झरने और पानी के कुण्ड) हैं। गलता जी आने के लिए आगंतुक पहले रामगोपाल जी मंदिर परिसर में आते हैं, जिसे स्थानीय रूप में ’बंदर मंदिर’ (गलवार बाग) कहा जाता है। इसे ये नाम यहां के निवासी ’बंदरों के एक बड़े समूह’ की वजह से मिला। हरियाली का खूबसूरत नजारा और उछलते कूदते बंदर क्षेत्र के खुशनुमा माहौल में इजाफा करते हैं। पहाड़ी की चोटी पर सूर्य देव को समर्पित एक छोटा मंदिर है, जिसे ’सूर्य मंदिर’ कहा जाता है। दीवान कृपाराम द्वारा निर्मित ये मंदिर शहर के लोगों के लिए पूजनीय है।

स्टेच्यू सर्किल Best Places to visit in Jaipur
Jaipur जयपुर के संस्थापक सवाई जयसिंह द्वितीय की एक विशाल आकार की श्वेत संगमरमर की मूर्ति सी-स्कीम क्षेत्र में एक सर्कल के बीच में स्थित है। उनके सम्मान में खड़ी हुई ये प्रतिमा जयपुर के संस्थापक को विनम्र श्रृद्धांजलि देती है। इसके चारों तरफ सुन्दर पार्क विकसित किया गया है।

रामनिवास बाग Best Places to visit in Jaipur
यह ऐतिहासिक उद्यान महाराजा सवाई रामसिंह द्वारा 1868 में बनवाया गया था। शहर के केन्द्र में स्थित इस बगीचे में अल्बर्ट हॉल संग्रहालय (अब केन्द्रीय संग्रहालय के रूप में जाना जाता है), जन्तुआलय, चिड़ियाघर, रवीन्द्र रंगमंच (थियेटर) एक आर्ट गैलेरी और एक प्रदर्शनी मैदान है।

जूलॉजिकल पार्क Best Places to visit in Jaipur
जूलॉजिकल पार्क या Jaipur जयपुर चिड़ियाघर की स्थापना सन् 1868 में सवाई राजा प्रतापसिंह ने की थी। यह पार्क राम निवास बाग में स्थित है और प्रसिद्ध अल्बर्ट हॉल से पैदल तय की जाने वाली दूरी है।

कनक वृन्दावन Best Places to visit in Jaipur
नाहरगढ़ पहाड़ियों की तलहटी में आमेर के रास्ते पर स्थित कनक वृंदावन पिकनिक स्थल के रूप में स्थानीय लोगों के बीच लोकप्रिय है। सुंदर परिदृश्य वाले बगीचे में एक बेहद आकर्षक नक्काशीदार मंदिर है, जिसे फिल्म शूट के लिए एक ड्रीम लोकेशन भी जाना जाता है।

ईसरलाट (सरगासूली) Best Places to visit in Jaipur
शहर के बीचों बीच 60 फीट ऊँची भव्य मीनार ’ईसरलाट’ को स्वर्ग भेदी मीनार या ‘सरगासूली’ भी कहते हैं। राजा ईश्वरी सिंह ने 1749 ई. में इस मीनार को एक शानदार जीत की स्मृति में बनवाया था। त्रिपोलिया गेट के निकट स्थित इस मीनार में अन्दर की तरफ ऊपर तक जाने के लिए सीढ़ियां बनी हैं, जिनसे चढ़कर ऊपर से Jaipur जयपुर का विहंगम दृश्य दिखाई देता है।

अमर जवान ज्योति Best Places to visit in Jaipur
अमर जवान ज्योति या अमर सैनिकों की लौ राजस्थान के शहीदों को समर्पित एक स्मारक है। अमर जवान ज्योति Jaipur जयपुर में नए विधानसभा भवन के पास स्थित है। अमर जवान ज्योति राजस्थान के सैनिकों के गर्व और गौरव का प्रतीक है। इसके चारों कोनों में ज्योति प्रज्जवलित हैं। शाम के समय अमर जवान ज्योति रंगों की आकर्षक छटा बिखेरती है। शाम की रौशनी से बढ़ी इसकी सुरम्यता, इसे पर्यटकों की एक पंसदीदा जगह बनाती है।

महारानी की छतरी Best Places to visit in Jaipur
शहर से आमेर के रास्ते में महारानी की छतरी, शाही परिवार की महिलाओं का अंतिम संस्कार का स्थल है। नक्काशीदार छतरियों की संरचना, संगमरमर पत्थर से की गई है। तथा राजपूत शैली की वास्तुकला के गुम्बद बनाए गए हैं। एक धारणा के अनुसार यह माना जाता था कि अगर रानी की मृत्यु अपने राजा के जीवित रहते तक हो गई तो इस छतरी की छत को पूरा बनाया जाएगा वरना यह छत अधूरी बनाई जाती थी।

नाहरगढ़ जैविक उद्यान Best Places to visit in Jaipur
Jaipur जयपुर दिल्ली राजमार्ग पर जयपुर से लगभग 12 कि.मी. दूर स्थित नाहरगढ़ जैविक उद्यान, नाहरगढ़ अभ्यारण्य का एक हिस्सा है। यह अरावली रेंज के अन्तर्गत 720 हैक्टेयर का एक बड़ा क्षेत्र है। उद्यान अपने विशाल वनस्पतियों और जीवों के लिए प्रसिद्ध है और उसका मुख्य उद्देश्य इनका संरक्षण करना है। यह लोगों को उपयोगी जानकारी देने और मौजूदा वनस्पतियों और जीवों पर शोध करने के लिए एक उपयुक्त जगह है। नाहरगढ़ जैविक उद्यान में पक्षी विज्ञानी 285 से अधिक प्रजातियों के पक्षियों को देखने की उम्मीद कर सकते हैं, जिनमें से सबसे लोकप्रिय श्वेत गर्दन वाली फुदकी है। उद्यान की सैर करते हुए रामसागर के समीप जाएं, विभिन्न प्रकार के पक्षियों को देखने के लिए एक शानदार जगह है। नाहरगढ़ जंतु उद्यान बेहद शानदार स्थल है और एशियाई मोर, बंगाल टाइगर, लॉयन एवम् पैंथर, लक्कड़बग्घे, भेड़िये, हिरण, मगरमच्छ, भालू, हिमालयी काले भालू, जंगली सूअर आदि जानवरों का घर है।

जयपुर वैक्स म्यूजियम Best Places to visit in Jaipur
नाहरगढ़ किले के दायरे में अरावली की तलहटी में, Jaipur जयपुर वैक्स संग्रहालय है, जिसकी यात्रा आपको विस्मय से भर देगी। यह संग्रहालय एंटरटेनमेंट 7 वेन्चर्स प्राइवेट लिमिटेड द्वारा विकसित किया गया है। 30 प्रसिद्ध व्यक्तियों की मोम प्रतिमाओं को संग्रहालय में रखा गया है। मोम संग्रहालय में अमिताभ बच्चन, महात्मा गांधी, भगत सिंह, रवीन्द्र नाथ टैगोर, अल्बर्ट आइंस्टीन, माइकल जैक्सन, सवाई जयसिंह द्वितीय, महारानी गायत्री देवी और भारतीय और अंतर्राष्ट्रीय नेतृत्व के कई प्रमुख व्यक्तियों की मोम प्रतिमाओं का संग्रह है। सरल सजावट वाली जीवंत प्रतिकृतियां दिलकश अनुभव प्रदान करती हैं। संग्रहालय में 10 फुट लंबी बुलेट, गति-गामिनी, प्रसिद्ध पर्यटन मोटर बाइक भी प्रदर्शित है।

जवाहर कला केन्द्र Best Places to visit in Jaipur
जवाहर कला केन्द्र जो कि जेकेके के नाम से लोकप्रिय है, एक अंतर्राष्ट्रीय संस्था है। जो भारतीय संस्कृति और कला की विभिन्न शैलियों के संरक्षण और प्रचार का काम करती है। 1993 में जयपुर में स्थापित जवाहर कला केन्द्र, शहर में एक बहुत लोकप्रिय सांस्कृतिक गंतव्य है। जेकेके कलाकारों, कारीगरों ,विद्वानों, कला प्रेमियों और आगन्तुकों को आपसी चर्चा का वातावरण प्रदान करता है। केन्द्र कला प्रदर्शनियों, थिएटर शो,नृत्य और संगीत से सम्बन्धित पठन और कार्यशालाओं जैसी कई गतिविधियों के माध्यम से लोगों को राजस्थानी और भारतीय संस्कृति के आंतरिक पहलुओं को देखने में मदद करता है। जेकेके भारतीय खगोल विज्ञान की नवग्रह संकल्पना पर बनाया गया है। छह प्रदर्शनी दीर्घाओं, छात्रावासों, सभागारों और एक खुले हुए थिएटर के साथ जेकेके के पास अपना शिल्पग्राम कॉम्पलेक्स भी है। जिसमें राज्य के ग्रामीण पहलू का प्रतिनिधित्व करती छः झोपड़ियाँ और हाट बाजारों, त्यौहारों और मेलों के लिए स्थल है। यहाँ इंडियन कॉफी हाउस भी है जो स्थानीय लोगों और दर्शकों के बीच बहुत लोकप्रिय है।

राजमंदिर Best Places to visit in Jaipur
Jaipur जयपुर के प्रसिद्ध स्थलों में से एक राज मंदिर एक सिनेमा थियेटर है। इस सिनेमा हॉल का गुलाबी शहर में एक विशेष स्थान है। इस सिनेमा हॉल में हिन्दी फिल्म देखना अद्भुत अनुभव है और अपनी सीट अग्रिम में बुकिंग करवाना एक अच्छा विचार है। 1976 में स्थापित इस थिएटर का खास बाहरी डिजाइन थियेटर को अलग सा दिखने में मदद करता है। थिएटर के अन्दर की अतिरंजित छत भव्य मंडल और लॉबी के बगल में बढ़ती घुमावदार विषाल सीढ़ियां, अनुपम आकर्षण प्रदान करते हैं। एमआई रोड पर स्थित राज मंदिर को देखे बिना जयपुर यात्रा पूरी नहीं मानी जा सकती।

सांभर झील Best Places to visit in Jaipur
Jaipur जयपुर से सिर्फ 70 किलोमीटर दूर यह देश की सबसे बड़ी खारे पानी की झील है। पर्यटन की दृष्टि से भी अत्यन्त आकर्षक स्थल है। शाकम्भरी माता मंदिर, देवयानी कुंड, शर्मिष्ठा सरोवर, नमक संग्रहालय, सर्किट हाउस, आदि भी महत्वपूर्ण दर्शनीय स्थल हैं। रास्ते में धार्मिक स्थल नरैणा और भैराणा भी जा सकते हैं। हज़ारों की संख्या में प्रवासी पक्षियों को देखने हेतु भी यह एक उपयुक्त स्थान है।

स्कल्प्चर पार्क ( प्रस्तर प्रतिमा / मूर्तियों का संग्रह ) नाहरगढ़ Best Places to visit in Jaipur
अरावली की पहाड़ियों के किनारे पर, ऊँचाई पर बसा नाहरगढ का क़िला, जयपुर शहर को ऊँचाई से देखता हुआ, हमेशा से ही एक प्रसिद्ध पर्यटक गन्तव्य रहा है। इस रंगीन ऐतिहासिक क़िले में अब एक और दिलचस्पी का अध्याय जुड़ गया है, जिसे राजस्थान सरकार की पहल पर एक स्कल्पचर पार्क इस क़िले में बनाया गया है। यह अपनी तरह का एक इकलौता स्थल है जो कि समकालीन कला को प्रदर्शित करता है। यह परियोजना राजस्थान राज्य की सरकार और एक एन. जी. ओ. साथ-साथ द्वारा किया गया मिला जुला प्रयास है। इस क़िले के इस महल के हिस्से को एक गैलरी में परिवर्तित कर के समकालीन कला को प्रस्तर प्रतिमाओं द्वारा दर्शाया गया है जिसमें उच्च श्रेणी के भारतीय तथा अन्तर्राष्ट्रीय कलाकारों की मूर्तियां अन्दर तथा बाहर की तरफ लगाई गई हैं। नाहरगढ़ क़िले में इस स्कल्प्चर पार्क की स्थापना की पहल, देश में समकालीन कला के प्रति बढ़ती हुई दिलचस्पी को और बढ़ाने के लिए की गई है, साथ साथ ही भारत की विरासत को शामिल करके दर्शाने के लिए यह गैलरी बनाई गई है। यह गैलरी जनता के लिए खुली हुई है तथा भारत देश के विशेष विशिष्ट अतीत तथा वर्तमान को उत्कृष्ट रूप में एक साथ दर्शाती है।

अक्षरधाम मंदिरBest Places to visit in Jaipur
Jaipur जयपुर आने वाले पर्यटकों के लिए चित्रकूट (वैशाली नगर) का अक्षर धाम मंदिर आकर्षण का केन्द्र है। भगवान नारायण को समर्पित यह मंदिर सुन्दर वास्तुकला के कारण प्रसिद्ध है।

झालाना सफारी पार्क Best Places to visit in Jaipur
लम्बे चौड़े क्षेत्र में फैला, झालाना सफारी पार्क Jaipur जयपुर का एक सुन्दर पार्क है जो कि विशेषकर तेंदुआ देखने के लिए प्रसिद्ध है। लगभग 1978 हैक्टेयर में फैला यह जंगल, जयपुर शहर के दक्षिण पूर्व में है। सन् 1860 तक यह क्षेत्र सामंतवादी शासन के अधीन था। यह सम्पत्ति जयपुर के पूर्व महाराजा की थी तथा शाही परिवार के लिए क्रीड़ा स्थल था। यह क्षेत्र आस पास के गाँवों के लिए जलाने के ईंधन की भरपाई करता था। सन् 1862 में एक जर्मन ब्रिटिश जीव विज्ञानी डॉक्टर ब्रान्डीस को वन विभाग का महानिरीक्षक नियुक्त किया गया ताकि वे वन विभाग का भली भांति निरीक्षण तथा देख-भाल करें तथा प्रबन्धन संभालें। इस पार्क में जंगली पेड़, पौधे, फल व फूलों के वृक्ष हैं तथा इसे उष्ण कटिबंधीय शुष्क पर्णपाती वन माना जाता है। यहाँ की सैर करने में नम स्थान, जंगली आगामी वन दिखाई देता है तथा यहाँ वन्यजीवों को दर्शक अपने प्राकृतिक रूप में विचरण करते हुए देख सकते हैं। तेंदुए के साथ ही इस वन क्षेत्र में 15-20 चीते भी घूमते दिखाई पड़ते हैं। झालाना सफारी पार्क में इसके अलावा और भी बहुत से वन्य जीव देखे जा सकते हैं जैसे – धारीदार लकड़बग्घा, जंगली लोमड़ी, सुनहरी गीदड़, चीतल, भारतीय कस्तूरी बिलाव, नील गाय, जंगली बिल्ली आदि। इसके साथ ही यह पार्क पक्षी प्रेमियों के लिए भी स्वर्णिम अवसर प्रदान करता है, क्योंकि यहाँ पर विविध प्रजाति के पक्षी जिनमें भारतीय पित्रा, काला गिद्ध, उल्लू, छींटेदार छोटे उल्लू, शिकरा (छोटा बाज) और बड़े गिद्ध भी शामिल हैं। दूर तक फैले इस वन्यजीव क्षेत्र में कुछ रोचक स्थल भी देखने लायक हैं – जैसे सन् 1835 में महाराजा सवाई रामसिंह द्वारा बनवाई गई शिकार हौदी (जहाँ छिपकर बैठकर शिकार किया जाता था) तथा एक बड़ा काली माता का मंदिर और जैन चूलगिरी मंदिर भी हैं।

मसाला चौक Best Places to visit in Jaipur
Jaipur जयपुर के रामनिवास बाग में आने पर किरण कैफे की पुराने यादें भुला पाना बहुत मुश्किल था। परन्तु अब वह कौतूहलपूर्ण दृश्य वापस आ गया है, जिसका नाम मसाला चौक है, वो जगह जहाँ आप प्रफुल्लित होकर, जयपुर के मसालेदार मज़ेदार खाने का मज़ा ले सकते हैं। जयपुर शहर घूमने आने वाले लोगों के लिए मौज-मस्ती के लिए यह बड़ी मशहूर जगह बन गई है। आप मसाला चौक में बैठ कर जयपुर की पुरानी गलियों में मिलने वाला ज़ायकेदार खाने का स्वाद चखने के साथ ही, जयपुर में मिलने वाले अन्य प्रसिद्ध स्थानीय विशिष्ट स्वादिष्ट व्यंजनों का स्वाद भी ले सकते हैं। मसाला चौक में कुल 21 फूड स्टॉल्स यानी खाने पीने की छोटी दुकानें लगाई गई हैं। यहाँ आने के लिए शाम का समय सबसे उचित है, क्योंकि इस समय आप यहाँ के स्थानीय लोगों के साथ मिलने जुलने व बातचीत करने का मौक़ा भी पाएंगे।

आम्रपाली संग्रहालय Best Places to visit in Jaipur
आम्रपाली ज्वेल्स प्राइवेट लिमिटेड के संस्थापकों द्वारा आम्रपाली संग्रहालय एक पहल है। यह संग्रहालय जयपुर शहर में स्थित भारतीय आभूषण और कलात्मक वस्तुओं को समर्पित है। संस्थापकों (राजीव अरोड़ा और राजेश अजमेरा) के लिए संग्रह प्रेम का एक श्रम रहा है जो लगभग चालीस साल पहले शुरू हुआ था जब वे कॉलेज में दोस्त बन गए थे, और यह आज भी जारी है। संग्रहालय में दो मंजिलों पर ध्यान केंद्रित करने के लिए कई क्षेत्र हैं। भूतल में शरीर के हर हिस्से के लिए सौंदर्य और अलंकरण, चांदी और सोने के आभूषणों की वस्तुओं को प्रदर्शित करता है, वस्तुतः भारत के हर क्षेत्र से; आभूषणों पर विशेष ध्यान देने के साथ, जो जन्म से मृत्यु तक पारित होने के संस्कार से जुड़े होते हैं।

तलघर में डिज़ाइन के लिए कई प्रेरणाएँ हैं जो भारतीय डिजाइनर को समय के साथ परिवर्तनों को बताती हैं, संग्रह में दोनों गहने और चांदी की वस्तुओं के माध्यम से देखा गया है। एक अलग खंड विरासत वस्त्रों के लिए समर्पित है जो सोने और चांदी से अलंकृत हैं। पूरा संग्रह 4000 से अधिक वस्तुओं से बना है, जिनमें से लगभग 800 प्रदर्शन पर हैं। बाकी को विजुअल स्टोरेज में देखा जा सकता है। अन्य संग्रहालयों के विपरीत, जहां जगह की कमी के कारण हजारों प्रदर्शन दृष्टि से बाहर रहते हैं, आम्रपाली संग्रहालय आपको विज़ुअल स्टोर लाता है, रिजर्व संग्रह को जगह देता है। संग्रहालय में विज़ुअल स्टोर के विषय में जानकारी चाहने वालों का स्वागत किया जाता है। संस्थापक अपने पूरे संग्रह को दुनिया के साथ साझा करने के इच्छुक हैं, इस विश्वास के साथ कि प्रत्येक कृति के अज्ञात रचनाकार चाहते थे कि उनका काम देखा जाए और प्रशंसा की जाए। क्योंकि ये रचनाएँ चपल, कालातीत और अमूल्य हैं। भारत के शिल्प कौशल की इस आकर्षक गवाही से विदेशी पर्यटक रोमांचित होंगे । मानव रूप के हर हिस्से के लिए आभूषण, भारत के हर कोने से आभूषणों से सजे गहने, सोने और चांदी से सुशोभित वस्त्र, और भी बहुत कुछ। आगंतुक संग्रहालय के समान हस्तनिर्मित चांदी के आभूषण और वस्तुएं भी खरीद सकते हैं और संग्रहालय की दुकान से सोने और चांदी के आभूषणों की पूरी श्रृंखला भी खरीद सकते हैं।

जयपुर अर्न्तराष्ट्रीय हवाई अड्डे को सांगानेर हवाई अड्डा कहा जाता है। दिल्ली, कोलकाता, मुम्बई, अहमदाबाद, जोधपुर, उदयपुर और कई अन्य स्थानों से घरेलू उड़ान संभव है। जयपुर से दुबई, मस्कट, सिंगापुर और बैंकॉक के लिए अर्न्तराष्ट्रीय उड़ानें भी हैं।

जयपुर जाने का एक सुविधाजनक तरीका सड़क मार्ग है। राजस्थान के सभी प्रमुख शहरों से ए.सी. और डीलक्स बसों की नियमित सेवा उपलब्ध है।

जयपुर दिल्ली, आगरा, मुम्बई, चेन्नई, कोलकाता, बीकानेर, जोधपुर, उदयपुर, अहमदाबाद, बैंगलोर सहित सभी प्रमुख शहरों से रेल के माध्यम से जुड़ा हुआ है।

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