Investments in Yeida Yamuna Expressway Industrial Development Authority
Investments in Yeida Yamuna Expressway Industrial Development Authority

कोविड काल में यीडा का कमाल सामने आया है. यीडा यानी यमुना एक्स्प्रेसवे इंडस्ट्रियल डेवेलपमेंट ऑथॉरिटी ने पैनडैमिक पीरियड में बेहतरीन इन्वेस्टमेंट हासिल किया है. कोरोना के दौर में जब पूरा देश और दुनिया महामारी की वजह से मंदी झेल रहे थे उसी दौरान यीडा ने बड़ी संख्या में निवेशकों को आकर्षित करने में सक्सेस हासिल की है.

बीमारी की वजह से किए गए लॉकडाउन के दौरान जब हर छोटा बड़ा धंधा बंद था तब भी यीडा एरिया में बड़ी संख्या में इन्वेस्टर्स ने अपने प्रोजेक्ट लगाए हैं. यमुना ऑथॉरिटी ने इस दौरान कई तरह के क्लस्टर्स में कई स्कीम्स निकाली थीं जिन्हें निवेशकों का बहुत ही अच्छा रिस्पॉन्स मिला है.
यीडा के सीईओ अरुणवीर सिंह ने मीडिया को बताया कि ऑथॉरिटी ने कोविड काल के दौरान कई क्लस्टर स्कीम निकालीं. इनमें हैंडलूम क्लस्टर, एमएसएमई क्लस्टर, उद्योगों के लिए क्लस्टर, और टॉय सिटी क्लस्टर शामिल थे. इसके अलावा नोएडा क्लस्टर के नाम से भी स्कीम निकाली गई. जिसमें 85 कंपनियों ने निवेश किया है. यीडा एरिया में निवेश करने वाली कंपनियां देश की नामी-गिरामी कंपनियां हैं.
अरुणवीर सिंह ने बताया कि कोविड के दौरान लिकाली गईं क्लस्टर स्कीम्स में 1270 कंपनियों को यूनिट लगाने के लिए ज़मीन अलॉट कर दी गई है. ये कंपनियां लगभग 7000 हेक्टेयर एरिया में काम शुरू कर रही हैं. नया आंकड़ा दिया गया है कि इन कंपनियों की ओर से लगभग 50 हज़ार करोड़ का इन्वेस्टमेंट इस इलाके में किया जा रहा है.
गौतम बुध नगर में कुल 3 डेवेलपमेंट ऑथॉरिटी हैं, नोएडा ऑथॉरिटी, ग्रेटर नोएडा ऑथॉरिटी और यमुना ऑथॉरिटी. कुछ वक्त पहले तक यमुना ऑथॉरिटी को अपना खर्च चलाने के लिए भी बैंकों से लोन लेना पड़ता था. लेकिन अब जिस तेज़ी से यमुना ऑथॉरिटी में काम हो रहा है उससे वो तीनों ऑथॉरिटीज़ में नंबर वन ऑथॉरिटी बनने की ओर बढ़ रही है.

आने वाले कुछ महीनों में यमुना ऑथॉरिटी के कई बड़े प्रोजेक्ट्स का शिलान्यास होने वाला है. जैसे जेवर इंटरनेशनल एयरपोर्ट, फिल्म सिटी, पॉड टैक्सी प्रोजेक्ट, टॉय सिटी, मेडिकल डिवाइस पार्क और डाटा पार्क. अगले 6 महीने में कई नई इंडस्ट्रीज़ यहां काम करना शुरू कर देंगी.
यमुना ऑथॉरिटी एरिया को हर तरह की कनेक्टिविटी दी जा रही है. चाहे वो एयर ट्रैवल हो, मेट्रो हो, रोड ट्रांसपोर्ट हो या पॉड टैक्सी. हर तरह की सुविधा ऑथॉरिटी एरिया को उपलब्ध कराई जा रही है.
जेवर इंटरनेशनल एयरपोर्ट 30 हजार करोड़ रुपये में, फिल्म सिटी लगभग 10000 करोड़ रुपये में और मेडिकल डिवाइस पार्क और डाटा पार्क जैसे प्रोजेक्ट लगभग 20 हजार करोड़ रुपये में लगाए जा रहे हैं.
आंकड़ों के मुताबिक इस सभी से लगभग 5 लाख लोगों को रोज़गार देने पर काम हो रहा है.