Delhi Meerut RRTS Latest News आपके इलाके में बनेगा रैपिड रेल स्टेशन ?
Delhi-Meerut RRTS
दिल्ली-मेरठ RRTS रूट पर कब से चलेगी रैपिड रेल ?
सबसे पहले कौन से सेक्शन पर चलेगी रैपिड रेल ?
दिल्ली से मेरठ तक कुल कितने स्टेशन बनाए जाएंगे ?
क्या आपके इलाके में बनेगा रैपिड रेल स्टेशन ?
अगर आप जानना चाहते हैं इन सवालों के जवाब तो इस वीडियो को देखिए आखिर तक और अगर आप पहली बार इस चैनल पर आए हैं तो इन्फ्रास्ट्रक्चर से जुड़ी लेटेस्ट न्यूज़ लगातार पाने के लिए इस चैनल को सब्स्क्राइब कर लीजिए अभी.
Delhi-Meerut RRTS यानी रीजनल रेल ट्रांजिट सिस्टम के ट्रैक पर रैपिड रेल दौड़ाने की तैयारी फुल स्पीड में है. NCRTC यानी National Capital Region Transport Corporation यानी राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र परिवहन निगम की पूरी कोशिश है कि कम से कम 17 किलोमीटर के रूट पर जल्द से जल्द रैपिड रेल चला दी जाए.
इसके लिए मार्च 2023 का वक्त तय किया गया है. 17 किलोमीटर के जिस सेक्शन पर मार्च 2023 तक रैपिड रेल दौड़नी शुरू हो जाएगी वो है साहिबाबाद से दुहाई के बीच का सेक्शन. इसमें 5 स्टेशन होंगे. ये स्टेशन हैं साहिबाबाद, गाज़ियाबाद, गुलधर, दुहाई और दुहाई डिपो.
दिल्ली से मेरठ तक RRTS यानी रीजनल रेल ट्रांसपोर्ट सिस्टम का पूरा रूट लगभग 82 किलोमीटर का है. इस पूरे प्रोजेक्ट पर 30,274 करोड़ रुपए का खर्च आने का अनुमान है. इस प्रोजेक्ट के लिये UP Government ने इस साल बजट में 1,326 करोड़ रुपए का प्रोविजन किया है. RRTS Project से जुड़े अफसरों का कहना है कि इस 82 किलोमीटर के प्रपोज़्ड दिल्ली-मेरठ RRTS कॉरिडोर पर कुल 24 स्टेशन बनाए जाने हैं.
इस प्रोजेक्ट की खासियत ये है कि इसे एयरपोर्ट्स, रेलवे स्टेशन और अंतरराज्यीय बस अड्डा यानी आईएसबीटी से भी कनेक्ट किया जाएगा. इसके अलावा मेट्रो स्टेशन्स की भी RRTS Station के साथ कनेक्टिविटी बनाने का प्लान है.
दिल्ली-मेरठ RRTS का पूरा कॉरीडोर मार्च, 2025 में आम लोगों के लिए शुरू कर देने की डेडलाइन रखी गई थी लेकिन COVID-19 के चलते इसके काम पर असर पड़ा है. हालांकि अभी भी दावा किया जा रहा है कि RRTS प्रोजेक्ट वक्त पर पूरा कर लिया जाएगा. ये उम्मीद इसलिए है क्योंकि इस प्रोजेक्ट के वो ज्यादातर पिलर्स तैयार कर दिए गए हैं जो उत्तर प्रदेश में आते हैं. कॉरीडोर के एलिवेटेड हिस्से में लगभग 700 पिलर खड़े कर लिए गए हैं जो पूरे कॉरीडोर का लगभग 20 किमी से ज्यादा है या एक चौथाई हिस्से जितना निर्माण है.
इसके अलावा दिल्ली के Anand Vihar में जल्द ही टनल का निर्माण शुरू होने वाला है. आनंद विहार साइट पर दिल्ली जल बोर्ड की इंटरसेप्टर सीवर लाइन को शिफ्ट करने का काम भी किया जा रहा है. इस लाइन को MTB माइक्रो टनलिंग बोरिंग के तहत शिफ्ट किया जा रहा है.
आनंद विहार में 20 मीटर लंबी और 16 मीटर चौड़ाई वाली टनल बोरिंग मशीन के लॉन्चिंग शाफ्ट का काम चल रहा है. दो TBM यानी टनल बोरिंग मशीन्स को लॉन्चिंग शाफ्ट में उतारा जाएगा ताकि आनंद विहार से सराय काले खां की ओर RRTS के लिए दो यानी जुड़वां सुरंगों को बोर किया जा सके. ये सुरंग लगभग 3 किमी लंबी होगी.
अब बात करते हैं उन इलाकों की जहां दिल्ली मेरठ RRTS कॉरीडोर के स्टेशन्स बनाए जाएंगे. कुल 24 स्टेशन्स में सराय काले खां, न्यू अशोक नगर, आनंद विहार, साहिबाबाद, गाजियाबाद, गुलधर, दुहाई, दुहाई डिपो, मुरादनगर, मुरादनगर डिपो, मोदीनगर साउथ, मोदीनगर नॉर्थ, मेरठ साउथ, परतापुर, रिठानी, शताब्दी नगर, ब्रह्मपुरी, मेरठ सेंट्रल, भैंसाली, बेगमपुल, MES कॉलोनी, दरौली मेट्रो, मेरठ नॉर्थ और मोदीपुरम हैं. इसके अलावा RRTS ट्रेन फीड के लिए दो डिपो अलग से भी तैयार किए जा रहे हैं.
2025 में जब दिल्ली-मेरठ रूट पूरी तरह शुरू हो जाएगा तो रैपिड रेल से हर रोज करीब 8 लाख पैसेंजर के सफर करने का अनुमान है.