Purvanchal Expressway और Bundelkhand Expressway का निर्माण तेज़
पूर्वांचल एक्सप्रेसवे और बुन्देलखण्ड एक्सप्रेसवे का निर्माण तेज़,यूपीडा सीईओ ने की समीक्षा
Purvanchal Expressway और Bundelkhand Expressway का निर्माण तेज़,यूपीडा सीईओ ने की समीक्षा
यूपीडा यानी उत्तर प्रदेश एक्सप्रेसवेज़ औद्योगिक विकास प्राधिकरण पूर्वांचल एक्सप्रेसवे और बुन्देलखण्ड एक्सप्रेसवे का तेज़ी से निर्माण करा रहा है.
लखनऊ के लोकभवन में उत्तर प्रदेश एक्सप्रेसवेज़ औद्योगिक विकास प्राधिकरण यानी यूपीडा के सीईओ अवनीश अवस्थी ने 1 फ़रवरी 2020 को दोनों एक्सप्रेसवे के निर्माण कार्यों की समीक्षा की.
Purvanchal Expressway Bundelkhand Expressway
अवनीश अवस्थी ने निर्माण कार्यों में लगी कम्पनियों के अधिकारियों से कहा कि वो पूर्वांचल एक्सप्रेसवे के निर्माण कार्य को तय समय सीमा यानी अगस्त 2020 तक पूरा करें. और जनवरी 2022 तक बुंदेलखण्ड एक्सप्रेसवे को भी तैयार कर यातायात के लिए खोल दिया जाए.
अवनीश अवस्थी ने कहा कि पूर्वांचल एक्सप्रेसवे के निर्माण कार्य में तेज़ी लाई जाए और इसके निर्माण कार्य में आ रही बाधाओं को जल्द से जल्द दूर किया जाए. अवनीश अवस्थी ने बुन्देलखण्ड एक्सप्रेसवे के निर्माण कार्य को लेकर भी निर्देश दिए और इसे भी जल्दी पूरा करने का निर्देश दिया.
लोक भवन में हुई समीक्षा बैठक में यूपीडा के सीईओ अवनीश कुमार अवस्थी ने यूपीडा के अधिकारियों और निर्माण कम्पनियों के सम्बंधित प्रतिनिधियों को निर्देश देते हुए कहा कि निर्माण कार्य में गुणवत्ता का पूरा ध्यान रखते हुए कार्य में तेज़ी लाई जाए और पूर्वांचल एक्सप्रेसवे के लिए उपलब्ध ज़मीन से सम्बंधित विवादों का शीघ्र ही हल निकाला जाए. अवनीश अवस्थी का कहना था कि निर्माण कार्य में कोई भी व्यवधान पैदा न हो और निर्माण कार्य तय समय सीमा में पूरा कराया जाए.
Purvanchal Expressway Bundelkhand Expressway
अगर पूर्वांचल एक्सप्रेसवे की बात करें तो इसका निर्माण कार्य काफ़ी तेज़ी से चल रहा है. साल 2020 में इस एक्सप्रेसवे के मुख्य मार्ग को खोलने की योजना है. उल्लेखनीय है कि इसकी कुल लम्बाई 340.824 किमी का लगभग 35 प्रतिशत से अधिक भौतिक कार्य पूरा कर लिया गया है.
1 फरवरी 2020 तक 98 प्रतिशत से अधिक क्लीयरिंग व ग्रबिंग का काम और 70 प्रतिशत से ज़्यादा मिट्टी का काम पूरा कर लिया गया है. अब तक पूर्वांचल एक्सप्रेसवे के कुल 430 स्ट्रक्चर्स का निर्माण कार्य पूरा किया जा चुका है. बाकी का निर्माण कार्य तेज़ स्पीड से चल रहा है.
Purvanchal Expressway Bundelkhand Expressway
पूर्वांचल एक्सप्रेसवे राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या-731 लखनऊ-सुल्तानपुर रोड(ग्राम चांदसराय) से शुरू होकर जनपद-बाराबंकी, अमेठी, सुल्तानपुर, फैजाबाद, अम्बेडकरनगर, आज़मगढ़, मऊ होते हुए जनपद-गाजीपुर(ग्राम हैदरिया) में राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 31 पर समाप्त होता है.
इस एक्सप्रेसवे की कुल लम्बाई 340.824 किमी है जिसके निर्माण के लिये एक्सप्रेसवे को 8 पैकेजों में बांटा गया है. ये एक्सप्रेसवे 6 लेन चौड़ा और 8 लेन में एक्सपेंडेबल यानी विस्तारणीय है.
बैठक में यूपीडा के सीईओ अवनीश अवस्थी ने बुन्देलखण्ड एक्सप्रेसवे के निर्माण कार्य की भी समीक्षा की. समीक्षा में उन्होंने यूपीडा के अधिकारियों और निर्माण कम्पनियों के सम्बंधित प्रतिनिधियों को निर्देश देते हुए कहा कि निर्माण कार्य में गुणवत्ता का पूरा ध्यान रखें और तेज़ी से कार्य करते हुए फरवरी 2020 तक 2 प्रतिशत मिट्टी का कार्य पूरा कर लिया जाए.
यूपीडा की फरवरी 2022 तक बुन्देलखण्ड एक्सप्रेसवे का निर्माण कार्य पूरा कर इसे यातायात के लिए खोलने की योजना है. अब तक यूपीडा बुन्देलखण्ड एक्सप्रेसवे के लिए लगभग 95 प्रतिशत से ज़्यादा भूमि अधिग्रहीत की जा चुकी है.
बुन्देलखण्ड एक्सप्रेसवे चित्रकूट ज़िले में भरतकूप के पास से शुरू होकर जनपद बांदा, हमीरपुर, महोबा, जालौन, औरैया होते हुए आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे पर राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या-91(इटावा-बेवर मार्ग) से करीब 16 किमी पूर्व कुदरैल गांव के पास समाप्त होगा.
ये एक्सप्रेसवे 4 लेन चौड़ा और 6 लेन एक्स्पैनडेबल (विस्तारणीय) होगा. इस एक्सप्रेसवे की लम्बाई 296.07 किमी है. इस एक्सप्रेसवे के बन जाने के बाद पूरा बुन्देलखण्ड क्षेत्र सीधा राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली से जुड़ जाएगा और वहां विकास के नये रास्ते खुलेंगे.
Valentines Day क्यों मनाया जाता है वेलेंटाइन डे Valentine Week के दिन
Valentines Day क्यों मनाया जाता है वेलेंटाइन डे? Valentine Week के दिन कौन से हैं?
वेलेंटाइन डे का इतिहास क्या है और कब मनाया जाता है? Valentine day history and reason in hindi
हर साल 14 फरवरी का दिन दुनिया भर में वेलेंटाइन डे या Valentine’s Day के तौर पर मनाया जाता है. ये दिन इतिहास में प्रेम के प्रतीक के तौर पर दर्ज है.
14 फरवरी को मनाया जाने वाला ये दिन अलग-अलग देशों में अलग-अलग तरीके से और अलग-अलग विश्वास के साथ मनाया जाता है. ख़ास तौर पर पश्चिमी देशों में इस दिन की रौनक अपने पूरे शबाब पर होती है. दूसरी तरफ़ पूर्वी देशों में भी इस दिन को अपने-अपने अंदाज से मनाया जाता है.
प्यार क्या है ज़िंदगी है या अंधेरी रात है.
फलसफों के खेल में ये जीत है या मात है.
आंसुओं की झील में डूबे हैं प्रेमी खुद यहां.
कोई न कोई तो इसमें ख़ास ऐसी बात है.
आज हम आपको बता रहे हैं कि आखिर इस दिन को मनाए जाने के पीछे की वजह क्या है लेकिन उससे पहले जान लेते हैं कि कैसे मनाया जाता है Happy valentines day.
चीन में 14 फ़रवरी का ये दिन ‘नाइट्स ऑफ सेवेन्स’ के तौर पर मनाया जाता है. ये दिन प्यार में डूबे दिलों के लिए खास होता है. उधर जापान और कोरिया में इस दिन को ‘वाइट डे’ का नाम दिया गया है. खास बात ये है कि इन देशों में इस दिन से लेकर पूरे एक महीने तक लोग अपने प्यार का इजहार करते हैं और एक-दूसरे को गिफ्ट और फूल देकर अपनी फीलिंग्स का इजहार करते हैं.
Valentine’s Day यानी मोहब्बत का दिन, इश्क के इज़हार का दिन. अपने जज्बातों को शब्दों में बयां करने के लिए वेलेंटाइन डे या Valentine’s Day का हर धड़कते हुए दिल को बेसब्री से इंतजार होता है.
प्यार भरा ये दिन खुशियों का प्रतीक माना जाता है और हर प्यार करने वाले शख्स के दिल में ख़ास जगह रखता है.
एक अनुमान के मुताबिक पूरी दुनिया में हर साल करीब एक बिलियन यानी 100 करोड़ यानी 1 अरब लोग एक-दूसरे को वेलेंटाइन कार्ड भेजते हैं. दुनिया में क्रिसमस के बाद वेलेंटाइन्स डे ही ऐसा मौका होता है जब पर सबसे ज्यादा कार्ड खरीदे जाते हैं.
वेलेंटाइन्स डे Valentines Day के मौके पर पश्चिमी देशों में पहले से चली आ रही परंपरा के मुताबिक प्रेमी एक-दूसरे को प्रेम-पत्र Love Letter तो भेजते ही हैं. साथ ही दिल, क्यूपिड और फूलों जैसे गिफ्ट के ज़रिए भी अपने प्रेम का इज़हार करते हैं. इस दिन की अहमियत का अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा सकता है कि 19वीं सदी में अमेरिका ने 14 फ़रवरी को अधिकारिक तौर पर छुट्टी घोषित कर दी थी.
अब आपको बताते हैं कि वेलेंटाइन डे मनाने की शुरुआत कैसे और कब हुई. इसके बारे में जानकारी मिलती है 1260 में तैयार की गई किताब ‘ऑरिया ऑफ जैकोबस डी वॉराजिन’ में.
इस किताब में सेंट वेलेंटाइन का ज़िक्र मिलता है.
किताब के मुताबिक तीसरी शताब्दी में रोम में सम्राट क्लॉडियस का शासन था. क्लॉडियस का मानना था कि शादी करने से पुरुषों की शक्ति और बुद्धि कम हो जाती है. क्लॉडियस ने आदेश जारी कर दिया कि उसका कोई भी सैनिक या अधिकारी शादी नहीं करेगा.
रोम के शासक क्लॉडियस के इस क्रूर आदेश का संत वेलेंटाइन नाम के शख्स ने विरोध किया. संत वेलेंटाइन इस आदेश के विरोध में अपनी बात लोगों को बताते रहे. संत वेलेंटाइन की बातों और तर्कों से प्रभावित होकर बड़ी संख्या में क्लॉडियस के सैनिकों और अधिकारियों ने शादी की. अपने आदेश के विरोध को देखकर क्लॉडियस इस हद तक नाराज़ हो गया कि उसने संत वेलेंटाइन को मारने का फैसला कर लिया.
14 फरवरी सन् 269 या 270 को क्लॉडियस ने संत वेलेंटाइन को फांसी पर चढ़वा दिया. उस दिन के बाद से ही 14 फ़रवरी का दिन इतिहास में दर्ज होकर अमर हो गया. संत वेलेंटाइन को फांसी दिए जाने के दिन को ही आज की दुनिया वेलेंटाइन्स डे के तौर पर मनाती है.
हालांकि मोटे तौर पर तो यही माना जाता है कि इस दिन जिस संत वेलेंटाइन को फांसी हुई थी उन्हीं की याद में ये दिन मनाया जाता है लेकिन इतिहास में उन वेलेंटाइन के अलावा भी कई और संत वेलेंटाइन का ज़िक्र किया गया है.
1969 में कैथोलिक चर्च की ओर से कुल मिलाकर 11 सेंट वेलेंटाइन के होने की बात कही गई. ये भी कहा गया कि 14 फरवरी का दिन इन सभी वेलेंटाइन संतों का सम्मान है. हालांकि इनमें सबसे महत्वपूर्ण वेलेंटाइन रोम के सेंट वेलेंटाइन माने जाते हैं.
कहा जाता है कि सेंट वेलेंटाइन ने अपनी मौत के वक्त अपनी आंखें दान करने की बात कही थी. जिस जेल में उन्हें रखा गया था उसके जेलर की बेटी जैकोबस नेत्रहीन थी. संत वेलेंटाइन ने कहा था कि उनकी मौत के बाद उनकी आंखें जेलर की बेटी के काम आएं.
जेलर की नेत्रहीन बेटी जैकोबस को संत वेलेंटाइन ने एक चिट्ठी लिखी थी जिसमें उन्होंने आखिर में लिखा था ‘तुम्हारा वेलेंटाइन’. ये दिन था 14 फरवरी. प्रेम के लिए बलिदान देने वाले इस संत की याद में हर साल 14 फरवरी को वैलेंटाइन डे मनाने का चलन शुरू हुआ।
वेलेंटाइन-डे के ज़रिए पूरी दुनिया में सच्चे प्रेम का संदेश फैलाया जाता है.
पिछले कुछ सालों में सोशल मीडिया के बढ़ने से कम्यूनिकेशन बेहद आसान हो गया है और इसी वजह से वेलेंटाइन्स डे की पॉपुलैरिटी दुनियाभर में बढ़ती जा रही है. इसे मनाने वालों की तादाद में भी बहुत भारी इजाफा हुआ है.
हालांकि हमारे देश में वैलेंटाइन डे मनाने को लेकर कुछ वर्गों से विरोध के स्वर भी उठते रहते हैं, लेकिन इस सब से बेखबर लोग फूल, चॉकलेट और तोहफे देकर अपने प्यार का इजहार करते हैं.
फरवरी का महीना प्यार के कद्रदानों के लिए बेहद स्पेशल होता है. इस महीने युवा लड़के-लड़कियों से लेकर उम्रदराज़ पुरुष और महिलाएं भी एक अलग उमंग और उत्साह से भरे रहते हैं.
इस महीने के ज़्यादातर दिन प्रेमी बहुत बिज़ी रहते हैं क्योंकि फरवरी के अलग-अलग दिनों के ख़ास मायने हैं. अब हम आपको बताते हैं वेलेंटाइन वीक के ख़ास दिनों यानी days of valentine week के बारे में.
Days of Valentine Week
7 फ़रवरी रोज डे Rose Day
8 फ़रवरी प्रपोस डे Propose Day
9 फ़रवरी चोकलेट डे (Chocolate Day)
10 फ़रवरी टेडी डे (Teddy Day)
11 फ़रवरी प्रॉमिस डे (Promise Day)
12 फ़रवरी हगडे (Hug Day)
13 फ़रवरी किस डे (Kiss Day)
14 फ़रवरी वैलेंटाइन डे (Valentine’s Day)
15 फरवरी – स्लैप डे (Slap Day)
16 फरवरी – किक डे (Kick Day)
17 फरवरी – परफ्यूम डे (Perfume Day)
18 फरवरी – फ्लर्टिंग डे (Flirting Day)
19 फरवरी – कन्फेशन डे (Confession Day)
20 फरवरी – मिसिंग डे (Missing Day)
7 फ़रवरी – रोज़ डे ये दिन रोज़ डे के रूप में मनाया जाता है। अपनी फीलिंग्स को शेयर करने के लिए आप अलग-अलग रंगों के गुलाबों का इस्तेमाल कर सकते हैं. जैसे प्यार के इज़हार के लिए अपने प्रेमी को लाल गुलाब और दोस्ती के लिए अपने साथी को पीला गुलाब दे सकते हैं.
8 फरवरी – प्रपोज डे रोज़ डे के अगले दिन होता है प्रपोज डे. प्रपोज डे पर प्रेमी-प्रेमिकाएं अपने चाहने वाले से प्यार का इजहार करते हैं. अगर आप किसी से अपने दिल की बात कहना चाहते हैं तो प्रपोज डे पर कह डालिए क्योंकि ये दिन आप ही के लिए बना है.
9 फरवरी – चॉकलेट डे प्रपोज़ डे के बाद बारी आती है चॉकलेट डे की. चॉकलेट डे पर आप अपने प्यार को चॉकलेट देकर अपने संबंधों को मीठा बना सकते हैं.
10 फरवरी – टेडी डे जब आपने अपने प्रेमी को चॉकलेट दे दी तो अब बारी है कुछ स्पेशल गिफ्ट देने की. इसके लिए 10 फ़रवरी को मनाया जाता है टेडी डे जिसमें सॉफ्ट सा टेडी टॉय देकर आप अपने प्यार को और गहरा बना सकते हैं.
11 फरवरी – प्रॉमिस डे 11 फ़रवरी को प्रॉमिस डे मनाया जाता है. सच्चे प्रेमी प्रॉमिस डे पर एक-दूसरे से प्यार निभाने का वादा करते हैं और अपने संबंध को मज़बूती देते हैं.
12 फरवरी – किस डे किस डे पर सच्चे प्रेमी-प्रेमिका किस के जरिए अपना प्यार जताते हैं. इसके लिए 12 फ़रवरी का दिन तय है.
13 फरवरी – हग डे 13 फ़रवरी को हग डे पर आप अपने साथी को एक जादू की झप्पी दे सकते हैं और उन्हें बता सकते हैं कि वो आपके लिए कितने खास हैं.
14 फरवरी – वेलेंटाइन डे Valentines Day ये दिन Happy valentines day कहने का दिन है. प्यार करने वालों के लिए सबसे बड़ा दिन है वेलेंटाइन्स डे. इसे संत वेलेंटाइन की याद में मनाया जाता है. इस दिन आप अपने प्रेमी या प्रेमिका के साथ सारा दिन बिता सकते हैं. 14 फरवरी को आप उन्हें ब्यूटीफुल गिफ्ट्स भी दे सकते हैं.
15 फरवरी – स्लैप डे 15 फरवरी को मनाया जाता है स्लैप डे. इस दिन आपको ज़रा संभल कर रहना होता है.
16 फरवरी – किक डे किक डे 16 फरवरी को मनाया जाता है. ये दिन खट्टी-मीठी नोक-झोंक का दिन है. ये दिन किक मारने का दिन है लेकिन प्यार से.
17 फरवरी – परफ्यूम डे परफ्यूम डे यानी खुशबू का दिन. 17 फ़रवरी के दिन फूल और परफ्यूम गिफ्ट किए जाते हैं.
18 फरवरी – फ्लर्टिंग डे फ्लर्टिंग डे पर आप अपने प्यार के साथ फ्लर्ट करने का मज़ा ले सकते हैं.
19 फरवरी – कन्फेशन डे 19 फरवरी को मनाया जाता है कन्फेशन डे. इस दिन आप अपनी सारी ग़लतियों को अपने प्यार के सामने कन्फेस करते हैं. इस दिन आप अपनी उन गलतियों को न दोहराने का भी वादा करते हैं.
20 फरवरी – मिसिंग डे मिसिंग डे अपने प्रेमी या प्रेमिका से दूर रहने का दिन है. इस दिन को एन्जॉय करने के लिए आप अपने प्रिय से दूर रहें. इस दिन आप एक-दूसरे के साथ बिताए पलों को याद करते हैं. आप अपने प्यार को प्यार भरे मिसिंग यू के मैसेज भी भेजते हैं.
Padma Awards 2020 पद्म पुरस्कार 2020 सुषमा स्वराज, अरुण जेटली, मैरी कॉम और जॉर्ज फर्नांडीज़ को पद्म विभूषण
Padma Awards 2020 पद्म पुरस्कार 2020 सुषमा स्वराज, अरुण जेटली, मैरी कॉम और जॉर्ज फर्नांडीज़ को पद्म विभूषण
भारत सरकार ने 25 जनवरी 2020, शनिवार को पद्म पुरस्कार 2020 की घोषणा की. इसमें 7 हस्तियों को पद्म विभूषण, 16 को पद्म भूषण और 118 को पद्मश्री दिए जाने का ऐलान किया गया है.
पद्म विभूषण
सुषमा स्वराज, अरुण जेटली, मैरी कॉम, छन्नू लाल मिश्रा और जॉर्ज फर्नांडीज़ को पद्म विभूषण
पद्म भूषण
मनोहर पर्रिकर (मरणोपरांत), आनंद महिंद्रा, पीवी सिंधू, एससी जमीर, मुमताज अली, सैयद मुआजेम अली (मरणोपरांत), मुजफ्फर हुसैन बेग, अजय चक्रवर्ती, मनोज दास, बालकृष्ण दोषी, कृष्णाम्मल जगन्नाथन, अनिल प्रकाश दोषी, सेरिंग नंडोल, नीलकंठ रामकृष्ण माधव मेनन (मरणोपरांत), प्रो जगदीश सेठ और वेणु श्रीनिवासन
Anand Mahindra (Trade and Industry) and PV Sindhu (Sports) conferred with Padma Bhushan award.
पद्म श्री Padma Awards-2020
जगदीश लाल आहूजा, मोहम्मद शरीफ, तुलसी गौड़ा और मुन्ना मास्टर को पद्म श्री सम्मान
जिन लोगों को पद्म श्री के लिए चुना गया उनमें करन जौहर, कंगना रनौत, अदनान सामी, एकता कपूर,जगदीश लाल आहूजा, मोहम्मद शरीफ, तुलसी गौड़ा और मुन्ना मास्टर का नाम शामिल था. 1984 भोपाल गैस कांड मामले के पीड़ितों के लिए लड़ाई लड़ने वाले सामाजिक कार्यकर्ता अब्दुल जब्बार को मरणोपरांत पद्मश्री से सम्मानित किए जाने का ऐलान किया गया. 14 नवंबर 2019 को उनका देहांत हो गया था.
गणतंत्र दिवस के मौके पर दिए जाने वाले पद्म श्री पुरस्कारों के हकदारों में लंगर बाबा जगदीश लाल आहूजा, सामाजिक कार्यकर्ता जावेद अहमद टेक, सामाजिक कार्यकर्ता सत्यनारायण मुनडयूर, सामाजिक कार्यकर्ता एस रामकृष्ण और सामाजिक कार्यकर्ता योगी आर्यन का नाम शामिल है.
Delhi election aap candidate list दिल्ली विधानसभा चुनाव 2020 Aam Aadmi Party List
Delhi election aap candidate list दिल्ली विधानसभा चुनाव 2020 Aam Aadmi Party candidate list
दिल्ली विधानसभा चुनाव 2020 का नतीजा 11 फ़रवरी 2020 को आएगा. इससे पहले 8 फ़रवरी 2020 को दिल्ली में 70 विधानसभा सीटों पर मतदान होगा.
आम आदमी पार्टी aap ने सभी 70 विधानसभा सीटों पर अपने उम्मीदवारों के नाम का ऐलान कर दिया है.
दिल्ली में मुख्य मुकाबला सत्तासीन आम आदमी पार्टी (AAP) और केंद्र में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (BJP) के बीच है, हालांकि कांग्रेस की स्थिति भी पिछले चुनाव के मुकाबले मज़बूत लग रही है.
दिल्ली विधानसभा चुनाव 2015 में आम आदमी पार्टी Aam Aadmi Party ने ऐतिहासिक जीत हासिल की थी. दिल्ली विधानसभा चुनाव 2015 में आम आदमी पार्टी ने 67 सीटों पर जीत हासिल की थी. इस चुनाव में बीजेपी को सिर्फ़ 3 सीटें मिली थीं जबकि कांग्रेस का खाता भी नहीं खुला था. चुनाव में जीत के बाद अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली के मुख्यमंत्री और मनीष सिसोदिया ने उपमुख्यमंत्री की कुर्सी संभाली थी. 2015 से पहले 2013 में भी आम आदमी पार्टी ने 28 सीटें जीतकर कांग्रेस के समर्थन से सरकार बनाई थी.
दिल्ली में आम आदमी पार्टी Aam Aadmi Party की सरकार बनने से पहले कांग्रेस की शीला दीक्षित लगातार 15 साल तक यहां की मुख्यमंत्री रही थीं। दिल्ली में विधानसभा की 70 सीटें हैं जिसमें से 58 सामान्य श्रेणी की है जबकि 12 सीटें अनुसूचित जाति के लिये आरक्षित हैं.
दिल्ली विधानसभा का गठन पहली बार 7 मार्च, 1952 को किया गया था. तब दिल्ली विधानसभा में 48 सदस्य थे. इसके बाद 1956 में राज्य पुनर्गठन आयोग की सिफारिशों के के बाद दिल्ली को केंद्रशासित प्रदेश बना दिया गया. इसके तहत मंत्री परिषद खत्म कर दी गई. इसके बाद विधानसभा की जगह दिल्ली मेट्रोपॉलिटन काउंसिल ने ले ली. इसके बाद 1991 में दिल्ली मेट्रोपॉलिटन काउंसिल की जगह एक बार फिर दिल्ली विधानसभा ने ले ली.
Mahamrityunjaya Mantra महामृत्युंजय मंत्र Maha Mrityunjaya Mantra in Hindi
Mahamrityunjaya Mantra महामृत्युंजय मंत्र Maha Mrityunjaya Mantra in Hindi
Mahamrityunjaya Mantra महामृत्युंजय मंत्र दिलाता है हर तकलीफ़ से छुटकारा. Mahamrityunjaya Mantra महामृत्युंजय मंत्र से ही मिलता है हर समस्या का समाधान.
आदियोगी भगवान शिव के पूजन में मंत्रों के जाप का बहुत ही ज़्यादा महत्व है. भगवान शिव की पूजा के दौरान कई तरह के मंत्रों का जाप किया जाता है. कार्यसिद्धि के लिए इन अलग-अलग मंत्रों की संख्या भी अलग होती है.
मान्यता है कि जब कोई मनुष्य सच्चे मन से इन शिव के मंत्रों का जाप करता है तो उसे उसकी हर कठिनाई और मुश्किल का हल मिल जाता है।
आज हम बात कर रहे हैं ऐसे ही एक मंत्र की. ये मंत्र है महामृत्युंजय मंत्र. ये मंत्र शिव शंभू का बहुत ही प्रिय मंत्र है.
Mahamrityunjaya Mantra महामृत्युंजय मंत्र को एक ऐसा मंत्र माना जाता है जिसका जप करने से मनुष्य मृत्यु पर भी विजय प्राप्त कर सकता है. शास्त्रों में अलग-अलग कार्यों के लिए अलग-अलग संख्याओं में मंत्र के जप का विधान है. मतलब अलग-अलग उद्देश्य के लिए मंत्रों के जाप की संख्या भी अलग-अलग होती है. किसी समस्या के निदान के लिए 1100 बार मंत्र का जाप किया जाता है तो किसी दूसरी समस्या के लिए मंत्रों के जाप की संख्या दस गुना तक बढ़ जाती है।
आइए जानते हैं कि किस समस्या में महामृत्युंजय मंत्र का जाप कितनी बार करना चाहिए.
-अगर आप किसी भय से ग्रसित हैं और उससे छुटकारा पाना चाहते हैं तो उसके लिए आपको 1100 बार मंत्र का करना चाहिए.
-अगर आपको कोई रोग है और कई कोशिशों के बावजूद आपको उस बीमारी से निजात नहीं मिल पा रही है तो आप 11000 बार महामृत्युंजय मंत्र का जाप कर सकते हैं. ऐसा करने से आपको बीमारी से राहत मिल सकती है.
-कई उद्देश्य ऐसे हैं जिनकी प्राप्ति के लिए सवा लाख बार महामृत्युंजय मंत्र का जाप करना अनिवार्य है. जैसे पुत्र की प्राप्ति, सामाजिक और आर्थिक उन्नति और अकाल मृत्यु से बचाव.
अगर इंसान पूरी श्रद्धा और विश्वास के साथ ये मंत्र साधना करे तो उसे मनचाहा फल मिल सकता है.
Mahamrityunjaya Mantra महामृत्युंजय मंत्र Maha Mrityunjaya Mantra in Hindi
Mahamrityunjaya Mantra महामृत्युंजय मंत्र का जाप करने से बहुत सी समस्याएं और बाधाएं दूर होती हैं. महामृत्युंजय मंत्र के साथ भगवान शिव का अभिषेक करने से इंसान को जीवन में कभी खराब हेल्थ की समस्या नहीं आती.
Mahamrityunjaya Mantra महामृत्युंजय मंत्र जपने से अकाल मृत्यु टलती है और इंसान बीमारियों से मुक्त होता है. अगर मनुष्य नहाते वक्त शरीर पर लोटे से पानी डालने के दौरान महामृत्युंजय मंत्र का जाप करे तो उसका स्वास्थ्य अच्छा रहता है.
पहले दूध को देखते हुए महामृत्युंजय मंत्र का जाप किया जाए और उसके बाद उसी दूध को पी लिया जाए तो इंसान के यौवन की सुरक्षा होती है. यानी मनुष्य युवा बना रहता है.
मनुष्य के जीवन में कई ऐसी परिस्थितियां आती हैं जब उसके लिए महामृत्युंजय मंत्र का जाप काफ़ी फ़ायदेमंद साबित हो सकता है. ऐसी ही कुछ परिस्थितियां नीचे दी गई हैं.
-ज्योतिष के मुताबिक अगर जन्म, मास, गोचर, दशा, अंतर्दशा, स्थूलदशा वगैरह में ग्रहपीड़ा होने का योग हो.
-किसी महारोग की पीड़ा.
-ज़मीन-जायदाद के बंटवारे का विवाद.
-हैजा-प्लेग जैसी महामारी
-सत्ता या संपत्ति को खोने का ख़तरा
-धन-हानि होने की सूरत में.
-मेलापक में नाड़ीदोष या षडाष्टक.
-राजा का डर.
-धार्मिक कार्यों में मन न लगना.
-देश के बंटवारे की स्थिति
-इंसानों में आपसी बैर-भाव या दुश्मनी
-त्रिदोषवश होने वाले रोग.
Mahamrityunjaya Mantra महामृत्युंजय मंत्र को चमत्कारी मंत्र माना जाता है लेकिन इसका जाप करने के लिए कुछ सावधानियां भी ज़रूरी हैं. इस मंत्र का पूरा लाभ लेने के लिए और किसी अनहोनी से बचने के लिए नीचे दी गई बातों का ध्यान रखना चाहिए.
-मंत्र जाप करते वक्त उच्चारण शुद्ध होना चाहिए.
-मंत्र का जाप एक निश्चित संख्या में करना चाहिए.
-जिस दिन जाप कर रहे हैं उससे पहले के दिनों में किए गए जाप से कम बार मंत्र का जाप न करें. मान लीजिए एक दिन आपने 1100 बार मंत्र जाप किया तो अगले दिन 1100 से कम बार मंत्र जाप न करें. ज्यादा बार कर सकते हैं.
-मंत्र का उच्चारण धीमे स्वर में करना चाहिए.
-मंत्र जाप करते वक्त धूप-दीप जलते रहना चाहिए.
-मंत्र जाप रुद्राक्ष की माला पर ही करना चाहिए.
-माला को गौमुखी में रखना चाहिए. जब तक जाप की संख्या पूरी न हो जाए, माला को गौमुखी से बाहर नहीं निकालना चाहिए.
-मंत्र जाप करते वक्त भगवान शिव की मूर्ति, तस्वीर, शिवलिंग या महामृत्युंजय यंत्र पास में रखना ज़रूरी है.
-महामृत्युंजय मंत्र के सभी जप कुशा के आसन पर बैठकर करने चाहिएं.
-मंत्र जाप करते वक्त दूध मिले जल से शिवजी का अभिषेक करते रहना चाहिए या उसे शिवलिंग पर चढ़ाते रहना चाहिए.
-महामृत्युंजय मंत्र जाप पूर्व दिशा की तरफ मुंह करके करना चाहिए.
-जिस जगह से मंत्र जाप की शुरुआत हो उसी जगह पर ही लगातार जाप करना चाहिए. मंत्र जाप के लिए एक निश्चित स्थान बना लेना चाहिए.
-मंत्र जाप करते वक्त मन को इधर-उधर भटकने न दें. एकाग्र होकर मंत्र जाप करें.
-मंत्र जाप करते वक्त आलस और उबासी नहीं आनी चाहिए.
-झूठी बातें नहीं करनी चाहिए.
-मंत्र जाप करते वक्त स्त्री से दूरी बना कर रखें.
-मंत्र जाप करने के वक्त के दौरान मांसाहार नहीं करना चाहिए.
Mahamrityunjaya Mantra महामृत्युंजय मंत्र Maha Mrityunjaya Mantra in Hindi
Aum Bhurbhuvah Svah Tatsviturvarenym Bhargo Devasyah Dheemahi Dhiyo Yo Nah Prachodayaat
मंत्र केवल शब्दों का संग्रह नहीं होता। ये शब्दों का एक ऐसा विशेष समूह होता है जिसका भारी और गूढ़ महत्व होता है।
चारों वेदों से मिलकर बने गायत्री मंत्र का सही ढंग से उच्चारण करने से मनुष्य के जीवन में बड़ा बदलाव आता है।
ये मनुष्य की आंतरिक यानी अंदरूनी शक्ति से निकलता है। अद्भुत ताकत और शक्ति से भरा ये परिपूर्ण मंत्र जब सही तरीके से बोला जाता है तो इसका काफी असर महसूस किया जाता है। Gayatri Mantra गायत्री मंत्र का जाप करने से इंसान का शरीर निरोगी बनता है और उसे इंसान को नाम, पैसा और शोहरत भी हासिल होती है।
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Gayatri Mantra गायत्री मंत्र का अर्थ(Meaning)
गायत्री मंत्र भगवान सूर्य की प्रार्थना में गाया जाता है। मंत्र इंसान की दिव्य शक्ति को बाहर लाता है। मंत्र के उच्चारण से जो कंपन पैदा होता है वो ब्रह्मांड में मौजूद नाद यानी प्राणमय ध्वनि के साथ मिलकर सार्वभौमिक चेतना में मिल जाता है। यही ब्रह्मांडीय कंपन ही आध्यात्मिक ज्ञान के पवित्र रहस्य का रूप ले लेता है।
Aum bhurbhuvah svah tatsviturvarenym bhargo devasyah dheemahi dhiyo yo nah prachodayaat
उस प्राणस्वरूप, दुःखनाशक, सुखस्वरूप, श्रेष्ठ, तेजस्वी, पापनाशक, देवस्वरूप परमात्मा को हम अन्तःकरण में धारण करें. वह परमात्मा हमारी बुद्धि को सन्मार्ग में प्रेरित करे.
गायत्री मंत्र के हर शब्द का क्या अर्थ है?
गायत्री मंत्र के शुरू के नौ शब्द प्रभु के गुणों की व्याख्या करते हैं।
ॐ = प्रणव भूर = मनुष्य को प्राण प्रदाने करने वाला भुवः = दुखों का नाश करने वाला स्वः = सुख प्रदान करने वाला तत = वह, सवितुर = सूर्य की तरह उज्जवल वरेण्यं = सबसे उत्तम भर्गो = कर्मों का उद्धार करने वाला देवस्य = प्रभु का धीमहि = आत्म चिंतन के योग्य (ध्यान) धियो = बुद्धि, यो = जो, नः = हमारी, प्रचोदयात् = हमें शक्ति दें
गायत्री मंत्र का जाप कब करना चाहिए?
गायत्री मंत्र बेहद आसान है। इसका जाप सरलता से किसी भी वक्त किया जा सकता है।हालांकि फिर भी इसके बारे में कुछ नियम हैं। कहा जाता है कि गायत्री मंत्र का जाप एक दिन में 3 बार किया जाना चाहिए।
पहला वक्त सुबह सूरज उगने के पहले से लेकर सूरज निकल जाने तक लगातार जाप
दूसरा वक्त दोपहर को
तीसरा वक्त शाम को सूरज डूबने से कुछ देर पहले से लेकर सूरज छिपने तक लगातार।
हिन्दू मान्यता के मुताबिक गायत्री मंत्र को विशेष दर्जा दिया गया है।
कई साइंटिफिक स्टडी और सर्वे में ये साबित हुआ है कि गायत्री मंत्र से इंसान के शरीर और दिमाग को कई फायदे होते हैं।
इसके जाप से इंसान को मानसिक शांति मिलती है, चेहरे पर चमक आती है, प्रसन्नता का अहसास होता है, इंद्रियों की कार्यशीलता बढ़ती है, गुस्सा काम आता है और दिमाग की क्षमता बढ़ती है।
Jalandhar lok sabha result जालंधर लोकसभा सीट Jalandhar lok sabha
Jalandhar lok sabha result जालंधर लोकसभा सीट Jalandhar lok sabha
2019 में पंजाब की 13 लोकसभा सीटों पर 19 मई को वोटिंग हुई. जालंधर से संतोख सिंह चौधरी कांग्रेस के उम्मीदवार थे. जबकि अकाली दल के उम्मीदवार थे चरणजीत सिंह अटवाल.उधर आम आदमी पार्टी के टिकट पर जोरा सिंह मैदान में थे.मुकाबला त्रिकोणीय था और हर पार्टी जीत का दावा कर रही थी.
2019 में आखिरकार कांग्रेस के संतोख सिंह चौधरी ने अकाली दल के चरणजीत सिंह अटवाल को 19491 रनों से हराकर एक बार फिर जालंधर लोकसभा सीट पर कब्ज़ा किया. संतोख को 3 लाख 85 हज़ार 712 और अटवाल को लाख 66 हज़ार 221 वोट मिले.
कुछ खास आंकड़े जालंधर लोकसभा सीट के.
2014 में संतोख सिंह चौधरी ने जीती थी जालंधर सीट कांग्रेस के संतोख सिंह चौधरी को 3,80,479 वोट मिले SAD के पवन कुमार टीनू को 3,09,498 वोट मिले थे तीसरे नंबर पर AAP प्रत्याशी को 2.5 लाख वोट मिले थे
कांग्रेस का गढ़ रही है पंजाब की जालंधर लोकसभा सीट 1999 से जालंधर सीट पर कांग्रेस का कब्ज़ा है जालंधर सीट पर हुए पिछले 5 चुनाव कांग्रेस ने जीते हैं कांग्रेस जालंधर सीट पर अब तक 13 चुनाव जीत चुकी है
अकाली दल 2 बार जालंधर में जीत हासिल कर पाया 1977 और 1996 में अकाली दल ने जीत हासिल की थी दो बार जनता दल ने जीती जालंधर लोकसभा सीट 1989 और 1998 में इंद्र कुमार गुजराल की जीत हुई थी
जालंधर के स्थानीय मुद्दे
KEY POINTS ONE जालंधर में शिक्षा व्यवस्था में सुधार बड़ा चुनावी मुद्दा संसदीय क्षेत्र के सरकारी स्कूलों में शिक्षा का स्तर खराब बेहतर स्कूलों का निर्माण चाहती है जालंधर की जनता उच्च शिक्षा को लेकर भी जालंधर के लोगों की कई मांगें
KEY POINTS TWO सड़कों के निर्माण को लेकर भी लोगों में नाराज़गी है सड़कों के रखरखाव पर जालंधर की उपेक्षा का आरोप बेरोज़गारी भी जालंधर में बहुत बड़ा चुनावी मुद्दा है रोज़गार न मिलने से जालंधर के शिक्षित युवा निराश
KEY POINTS THREE ग्रामीण इलाकों में किसानों की समस्याएं भी मुद्दा हैं फसल का उचित मूल्य न मिलने से किसान परेशान नोटबंदी से कारोबारियों को नुकसान भी चुनावी मुद्दा GST लागू होने से व्यापारियों की परेशानी भी मुद्दा
चंद्र ग्रहण वो समय है जब पृथ्वी सूर्य के प्रकाश को चंद्रमा तक पहुंचने से रोकती है। चंद्रग्रहण तीन प्रकार के होते हैं- पूर्ण, आंशिक और उपछाया। इस साल पड़ने वाले चार चंद्रग्रहणों में से एक 10 जनवरी को होगा। साल 2020 का पहला चंद्रग्रहण 10 जनवरी को रात 10 बजकर 39 मिनट पर शुरू होगा।
यह चंद्र ग्रहण पेनुमब्रल(उपछाया) होगा, जिसका अर्थ है कि पृथ्वी सूर्य की रोशनी को चंद्रमा तक पहुंचने से कुछ हद तक रोक देगी और केवल बाहरी छाया (पेनम्ब्रा) चंद्रमा पर गिरेगी।
यह उपछाया चंद्रग्रहण है जिसका बहुत प्रभाव नहीं होता है क्योंकि इसमें चंद्रमा की काली छाया पृथ्वी पर नहीं पड़ती है।
10 जनवरी का चंद्र ग्रहण पूर्णिमा के साथ होगा यानी 10 जनवरी पूर्णिमा की रात है।
जनवरी की पूर्णिमा 2020 के पूरे साल की पहली पूर्णिमा है।
भारत में 10 जनवरी को चंद्रग्रहण रात 10:39 बजे से 11 जनवरी रात 2:42 बजे तक देखा जा सकता है। यानी चंद्रग्रहण 4 घंटे से अधिक समय तक जारी रहेगा।
उपछाया चंद्रग्रहण दुनिया के इन हिस्सों में दिखाई देगा:
एशिया अफ्रीका ऑस्ट्रेलिया यूरोप उत्तरी अमेरिका के कुछ उत्तर-पूर्वी हिस्से दक्षिण अमेरिका के कुछ पूर्वी हिस्से हिंद महासागर अटलांटिक महासागर
अगला चंद्र ग्रहण
10 जनवरी के बाद साल का अगला चंद्र ग्रहण 5 जून 2020 को होगा, उसके बाद 5 जुलाई 2020 को और फिर 30 नवंबर, 2020 को।
एक वर्ष में 365 दिन और प्रत्येक वर्ष में लगभग 12 पूर्णिमा पड़ती हैं। प्राचीन लोग प्रकृति के मौसम में परिवर्तन को समझने के लिए 12 पूर्णिमा का उपयोग करते थे। जिसके कारण उन्होंने प्रत्येक पूर्णिमा का नाम अलग-अलग रखा। कुछ नाम चंद्रमा के आकार या उपस्थिति पर आधारित होते हैं, जबकि अन्य एक निश्चित महीने, मौसम, या खगोल घटना के दौरान पूर्णिमा का अर्थ बताते हैं। यहां तक कि अंग्रेजी का Month शब्द भी Moon शब्द से लिया गया है।
Pradhan Mantri Jan Dhan Yojana प्रधानमंत्री जन धन खाता योजना
Pradhan Mantri Jan Dhan Yojana प्रधानमंत्री जन धन खाता योजना
भारत की सरकार ने देश की गरीबी दूर करने के लिए वित्तीय समावेशन को बेहद महत्वपूर्ण बताया है। अगर लोग बड़ी संख्या में वित्तीय सेवाओं से वंचित रहेंगे तो ये हमारे देश के विकास में रुकावट बनेगा। देश के नागरिकों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के लिए Pradhan Mantri Jan Dhan Yojana प्रधानमंत्री जन धन योजना की सख्त ज़रूरत थी जिससे सभी गरीब नागरिक इस योजना से होने वाले लाभ और विकास का हिस्सा बन सकें।
प्रधानमंत्री जन-धन योजना Pradhan Mantri Jan Dhan Yojana यानी पीएमजेडीवाय PMJDY दुनिया की सबसे बड़ी वित्तीय समावेशन योजना है।
Pradhan Mantri Jan Dhan Yojana प्रधानमंत्री जन-धन योजना (पीएमजेडीवाय) PMJDY की घोषणा प्रधानमंत्री ने 15 अगस्त 2014 को ऐतिहासिक लाल किले से की थी। योजना की शुरुआत 28 अगस्त 2014 को पूरे देश में की गई। योजना के शुभारम्भ के समय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा था कि ये योजना गरीबों की दुष्चक्र से मुक्ति के त्योहार के रूप में मनाने का मौका है।
प्रधानमंत्री ने कहा था कि आर्थिक गतिविधियों में लोगों को शामिल करने की ज़िम्मेदारी राज्य की है। उन्होंने कहा था कि सरकार ने ये ज़िम्मेदारी उठा ली है। प्रधानमंत्री जी ने इसके लिए तक़रीबन 7.25 लाख बैंक कर्मचारियों को ईमेल भेजा था जिसमें उन्होंने 7.5 करोड़ बैंक खातों को खोलने के लक्ष्य को प्राप्त करने और वित्तीय अस्पृश्यता को समाप्त करने में मदद करने का आग्रह किया था।
Pradhan Mantri Jan Dhan Yojana प्रधानमंत्री जन-धन योजना
प्रधानमंत्री जन-धन योजना (पीएमजेडीवाय) वित्तीय समावेशन के लिए एक राष्ट्रीय मिशन है जिसका उद्देश्य बैंकिंग/बचत, जमा खाता, प्रेषण, ऋण, बीमा, पेंशन इत्यादि वित्तीय सेवाओं को प्रभावी ढंग से सभी तक पहुँचाना है।
इस योजना के अंतर्गत जन धन योजना खाता Jan Dhan Yojana Account किसी भी बैंक शाखा अथवा व्यवसाय प्रतिनिधि (बैंक मित्र) आउटलेट में खोला जा सकता है।
योजना से जुड़ी जानकारी के लिए टोल फ्री नंबर भी मौजूद हैं।
राष्ट्रीय टोल फ्री नंबर : 1800 11 0001 और 1800 180 1111
जन धन योजना खाता Jan Dhan Yojana Account खोलने के लिए ज़रूरी डॉक्यूमेंट्स:
यदि आधार कार्ड/आधार नंबर उपलब्ध है तो किसी अन्य डॉक्यूमेंट की ज़रूरत नहीं है। अगर आपका पता बदल गया है तो वर्तमान पते का स्वप्रमाणन यानी सेल्फ अटेस्टेशन काफी है।
अगर आधार कार्ड उपलब्ध नहीं है तो उस स्थिति में मतदाता पहचान पत्र, ड्राइविंग लाईसेंस, पैन कार्ड, पासपोर्ट तथा नरेगा कार्ड जैसे सरकारी रूप से वैध डॉक्यूमेंट्स में से किसी एक की ज़रूरत होगी।
अगर इन दस्तावेजों में आपका पता भी मौजूद है तो ये पहचान तथा पते के प्रमाण के रूप में कार्य करेगा।
यदि किसी व्यक्ति के पास कोई भी “वैध सरकारी डॉक्यूमेंट” नहीं हैं, लेकिन इसे बैंक द्वारा ‘कम जोखिम’ की श्रेणी में कैटेगराइज़/वर्गीकृत किया गया है तो वो व्यक्ति निम्नलिखित में से कोई एक प्रलेख जमा करके बैंक खाता खुलवा सकता/सकती है।
केंद्र/राज्य सरकार के विभाग, वैधानिक / विनियामक प्राधिकरण, सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम, अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों और लोक वित्तीय संस्थानों द्वारा जारी किये गए पहचान पत्र जिसमे आवेदक की तस्वीर लगी हो;।
व्यक्ति की सत्यापित तस्वीर के साथ राजपत्रित अधिकारी द्वारा जारी किया गया पत्र।
क्या चेकबुक उपलब्ध कराई जाएगी?
प्रधानमंत्री जन-धन योजना (पीएमजेडीवाय) में खाते शून्य जमा राशि के साथ खोले जाते हैं। अगर खाता धारक को चेकबुक चाहिए तो उसे संबंधित बैंक के न्यूनतम शेष राशि से संबंधित मानदंड मानने होंगे।
Pradhan Mantri Jan Dhan Yojana प्रधानमंत्री जन धन खाता योजना से होने वाले विशेष लाभ:
जमा राशि पर ब्याज।
एक लाख रुपए का दुर्घटना बीमा।
न्यूनतम शेष राशि बनाये रखने की जरुरत नहीं है हालांकि यह सलाह दी जाती है कि आप रुपये कार्ड द्वारा किसी एटीएम से पैसे निकालने हेतु कुछ शेष राशि खाते में रखें।
Rs.30,000 का जीवन बीमा।
भारत में कहीं भी पैसे आसानी से भेजने की सुविधा।
सरकारी योजनाओं के लाभार्थियों को इन खातों के माध्यम से डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर यानी प्रत्यक्ष लाभ स्थानांतरण मिलता है।
छ: माह तक इन खातों के संतोषजनक परिचालन के पश्चात ओवरड्राफ्ट की सुविधा दी जाती है।
पेंशन, बीमा उत्पादों तक पहुंच।
दुर्घटना बीमा, “रुपये” डेबिट कार्ड 45 दिनों में कम-से-कम एक बार इस्तेमाल किया जाना चाहिए।
प्रत्येक परिवार के एक खाते, विशेष कर महिला खाते में Rs.5000/- की ओवरड्राफ्ट सुविधा प्रदान की जाती है।
गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड ने भी प्रधानमंत्री जन-धन योजना (पीएमजेडीवाय) की उपलब्धियों को सराहा है। गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड की ओर से सर्टिफिकेट जारी किया गया है जिसमें कहा गया है कि “वित्तीय समावेशन अभियान” के एक भाग के रूप में एक सप्ताह में जो सबसे अधिक बैंक खाते खोले गए, उसकी संख्या है – 18,096,130. भारत सरकार के वित्तीय सेवा विभाग ने 23 से 29 अगस्त 2014 के बीच ये उपलब्धि हासिल की थी।
तत्कालीन केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने प्रधानमंत्री जन-धन योजना (पीएमजेडीवाय) को अर्थव्यवस्था का एक जबर्दस्त परिवर्तन बताया था और कहा था कि इससे प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण के लिए एक मंच मिला है जिससे सब्सिडी में आ रही खामियों को दूर करने में मदद मिलेगी और राजकोष में बचत को बल मिलेगा।